ज्योतिष में कई तरह के शुभ एवं अशुभ योगों का वर्णन प्राप्त होता है. इन योगों के प्रभाव स्वरुप किसी व्यक्ति को विभिन्न प्रकार के फलों की प्राप्ति होती है. एक विशेष योग बालारिष्ट भी ज्योतिष शास्त्र में अत्यंत महत्वपूर्ण योग रहा है. इस योग का

ज्योतिष शास्त्र में जीवन के हर क्षण और घटनाक्रम को समझा जा सकता है. इसमें मौजूद गणनाओं का उपयोग करके जीवन में होने वाली घटनाओं को जान पाना संभव होता है. इन सूक्ष्म गणनाओं में एक गणना आयु और दुर्घटना को लेकर है जिसे जानने के लिए किसी

2024 में सावन माह का आरंभ 22 जुलाई से होगा. श्रावण माह का समय 22 जुलाई को कृष्ण पक्ष प्रतिपदा से शुरु होगा. सावन के पहले दिन ही अशून्यशयन व्रत भी होगा जो भगवान शिव हेतु रखा जाता है. सावन के कृष्ण पक्ष में दो सोमवार व्रत होंगे. इसके पश्चात

राहु - सूर्य राहु और सूर्य का संबंध कुण्डली में ग्रहण योग का निर्माण करता है. इसके प्रभाव स्वरुप पिता एवं संतान के मध्य वैचारिक मतभेद की स्थिति रह सकती है. संतान की जन्म कुण्डली में यह योग होने पर पिता के व्यवसाय और मान सम्मान में कमी

ज्योतिष के सिद्धांत अनुसार राशियों के द्वारा किसी व्यक्ति के व्यक्तित्व को समझने में बहुत से विशेष बातों का आसानी से पता चल सकता है. अगर आपको अपने भावी साथी से केवल उनकी जन्म तिथि की जानकारी ही मिल पाती है तब आप उनके चंद्र ओर सूर्य राशि के

मीन राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी बृहस्पति का मीन राशि गोचर होगा इसके पश्चात 28 जुलाई को बृहस्पति मीन राशि में वक्री होकर गोचर करेंगे. मंगल का गोचर मेष राशि में होगा. माह आरंभ में सूर्य का गोचर

कुंभ राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी शनि का वक्री अवस्था में ही गोचर कुंभ राशि में होगा और 12 जुलाई को शनि वक्री अवस्था में मकर राशि में प्रवेश करेंगे तथा वहीं गोचरस्थ रहेंगे. माह आरं भ में सूर्य का

मकर राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी शनि का वक्री अवस्था में ही गोचर कुंभ राशि में होगा और 12 जुलाई को शनि वक्री अवस्था में मकर राशि में प्रवेश करेंगे तथा वहीं गोचरस्थ रहेंगे. माह आरं भ में सूर्य का

धनु राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी बृहस्पति का मीन राशि गोचर होगा इसके पश्चात 28 जुलाई को बृहस्पति मीन राशि में वक्री होकर गोचर करेंगे मंगल का गोचर मेष राशि में होगा. माह आरंभ में सूर्य का गोचर

वृश्चिक राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी मंगल का गोचर मेष राशि में होगा. माह आरंभ में सूर्य का गोचर मिथुन में होगा उसके पश्चात माह मध्य 16 जुलाई से कर्क में राशि में गोचरस्थ आरंभ होगा. बुध वृष राशि

तुला राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी शुक्र माह आरंभ में वृषभ में होंगे इसके बाद 13 जुलाई को मिथुन राशि में प्रवेश करेंगे. माह आरंभ में सूर्य का गोचर मिथुन में होगा उसके पश्चात माह मध्य 16 जुलाई से

मिथुन राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी बुध वृष राशि में गोचरस्थ होंगे, 2 जुलाई को बुध वृष से निकल कर मिथुन में होंगे 16 जुलाई को कर्क में जाकर गोचरस्थ होंगे. 5 जुलाई को पूर्व में अस्त होंगे इसके बाद

सिंह राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी सूर्य माह आरंभ में मिथुन में गोचर करेंगे, उसके पश्चात माह मध्य 16 जुलाई से कर्क में राशि में प्रवेश करेंगे तथा गोचरस्थ रहेंगे. माह आरंभ में बुध वृष राशि में

कर्क राशि के जातकों के लिए आर्थिक क्षेत्र में उतार-चढ़ाव बना रहने वाला है. कुछ न कुछ ऐसे मौके सामने दिखाई देंगे जिनके कारण आप लाभ ओर हानि दोनों को देखेंगे. इस समय के दौरान स्थितियां काफी मिलेजुले असर की होगी. अपने लिए इनकम के कुछ नए

मिथुन राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी बुध वृष राशि में गोचरस्थ होंगे, 2 जुलाई को बुध वृष से निकल कर मिथुन में होंगे 16 जुलाई को कर्क में जाकर गोचरस्थ होंगे. 5 जुलाई को पूर्व में अस्त होंगे इसके बाद

वृषभ राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी शुक्र माह आरंभ में वृषभ में होंगे इसके बाद 13 जुलाई को मिथुन राशि में प्रवेश करेंगे. माह आरंभ में सूर्य का गोचर मिथुन में होगा उसके पश्चात माह मध्य 16 जुलाई से

मेष राशि के लिए जुलाई माह में ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहेगी. राशि स्वामी मंगल का गोचर मेष राशि में होगा. माह आरंभ में सूर्य का गोचर मिथुन में होगा उसके पश्चात माह मध्य 16 जुलाई से कर्क में राशि में गोचरस्थ आरंभ होगा. बुध वृष राशि में

माह के आरंभ में मीन राशि के लिए ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहने वाली है. राशि स्वामी गुरु माह के आरंभ में मीन राशि में गोचरस्थ होंगे. मंगल का गोचर भी मीन राशि में होने से गुरु मंगल युति का निर्माण होगा. सूर्य माह आरंभ में वृष राशि में

माह के आरंभ में कुंभ राशि के लिए ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहने वाली है. राशि स्वामी शनि का गोचर अपनी स्वराशि कुंभ में होगा. इसी समय शनि कुंभ राशि में वक्री भी होंगे. गुरु माह के आरंभ में मीन राशि में गोचरस्थ होंगे. मंगल का गोचर भी मीन

माह के आरंभ में मकर राशि के लिए ग्रहों की स्थिति इस प्रकार रहने वाली है. राशि स्वामी शनि का गोचर कुंभ राशि में होगा. जून को शनि कुंभ राशि में वक्री होंगे. गुरु माह के आरंभ में मीन राशि में गोचरस्थ होंगे. मंगल का गोचर भी मीन राशि में होने