पौष मास के पर्व: पौष संक्रान्ति 2024, 16 दिसम्बर (Festival of the Month of Paush : Paush Sankranti 2024, 16th Dec)
पौष संक्रांति पर सूर्य धनु राशि में प्रवेश करेंगे. पौष संक्रांति का आरंभ 16 दिसंबर शनिवार 2024, सुबह के समय 15:57 मिनिट पर आरंभ होगा. शुभ मुहूर्ति इस संक्रांति का पुण्य काल 09:33 बाद से होगा.
पंचक प्रारम्भ 2024, 26 दिसंबर (Beginning of Panchak 2024, 26th December)
26 दिसंबर, 2024 से पंचक प्रारम्भ होगें. पंचक की यह अवधि 31 दिसंबर 2024 तक रहेगी. पंचक समय में शुभ कार्य नहीं किये जाते है. यह माना जाता है कि पंचक समय में कार्य करने से कार्य पांच बार आवृ्ति हो सकती है. अगर अनजाने में कोई कार्य प्रारम्भ कर लिया जाता है, तो उसकी अशुभता कम करने के लिये शान्ति कार्य किये जाते है. जहां तक हो सके इस अवधि में शुभ कार्यो को टालना चाहिए. परन्तु फिर भी करना पडे तो करने से पहले दोष शान्ति विधान कर लेना चाहिए.
पुत्रदा एकादशी व्रत 2024, 02 जनवरी (Putrada Ekadashi 2024, 2nd January)
पौष शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को पुत्रदा एकादशी व्रत करने का विधान है. अन्य एकादशियों की तरह इस एकादशी को भी व्रत कर विष्णु जी का पूजन किया जाता है. परन्तु इस एकादशी का व्रत संतान प्राप्ति की इच्छा पूर्ति के लिये किया जाता है. इस व्रत को करने के लिये भगवान विष्णु का ध्यान कर पूर्ण व्रत- नियम का पालन करते हुए करना चाहिए. रात्रि में विष्णु मंत्र या विष्णु स्तोत्र का पाठ करते हुए जागरण करना चाहिए. तथा अगले दिन ब्राह्माणों को भोजन कराकर यथाशक्ति दान आदि देना चाहिए.
पौष पूर्णिमा 2024, 06 जनवरी (Paush Poornima 2024, 6th January)
पौष पूर्णिमा 06 जनवरी, 2024 के दिन रहेगी. पूर्णिमा में स्नान-दान करने का विशेष महत्व है.
माघ कृष्ण पक्ष प्रारम्भ 2024, 07 जनवरी (Beginning of Magh Krishna Paksh 2024, 7th January)
7 जनवरी, 2024 से माघ कृष्ण पक्ष का प्रारम्भ होगा. माघ कृष्ण पक्ष में किये जाने वाले कार्य इस दिन से शुरु हो जायेगें.
श्री गणेश संकट चौथ व्रत 2024, 10 जनवरी (Fast of Sri Ganesh Sankat Chouth 2024, 10th January)
माघ कृ्ष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को संकट हरण श्री गणेश चौथ का व्रत रखकर प्रात: स्नान करने के बाद श्री गणेश पूजन व "गं गणपतये नम:" बीज मंत्र का जाप करना चाहिए. रात्रि को चन्द्र का उदय होने पर श्री गणेश जी को लड्डूओं का भोग लगाकर पूजन करना चाहिए. तथा चन्द्र को अर्ध्य देना चाहिए. भोग का कुछ भाग प्रसाद रुप में बांटकर शेष का स्वयं सेवन करना चाहिए.
लोहडी पर्व 2024, 13 जनवरी (Lohri Festival 2024, 13th January)
मकर संक्रान्ति से एक दिन पूर्व लोहडी पर्व मनाया जाता है. लोहडी पर्व वैसे तो पूरे उतर भारत में हर्ष-उल्लास से मनाया जाता है. पर इसकी धूम पंजाब में विशेष रुप से देखी जा सकती है. यह पर्व फसल से संबन्धित पर्व है. नई फसल के आगमन की खुशी को सबके साथ बांटने का एक अनोखा तरीका है. इसमें दिन में भांगडे और् रात में सार्वजनिक स्थलों पर सामूहिक लोहडी का पर्व मनाया जाता है. चौराहों पर लकडियां एकत्रित कर जलाई जाती है. तथा उसके चारों और चक्कर लगाते हुए, अग्नि में नई फसल, मूंगफली और मक्की के दाने डाले जाते है.