शुक्र का उदय ओर अस्त होना ज्योतिष शास्त्र में गोचर की विशेष घटना क्रम में से होता है. जिस प्रकार बृहस्पति अपनी शुभता एवं सौभाग्य के प्रतिक माने जाते हैं उसी प्रकार शुक को भी शुभता एवं समृद्धि का प्रतिक माना जाता है. ज्योतिष में इन दोनों का उदय और अस्त समय विशेष माना गया है. शुक्र का अस्त होना भौतिक संपदा, प्रेम, आकर्षण, सभी प्रकार की कामनाओं को दर्शाने वाला होता है.

शुक्र के अस्त होने पर शुक्र के कारक तत्वों में कमी देखी जा सकती है. विवाह एवं मांगलिक कार्यों में शुक्र के उदय की स्थिति का ध्यान खासतौर पर रखा जाता है. यदि शुक्र अस्त होता है तो इन कार्यों को करने से बचा जाता है. जब शुक्र उदय होता है तो विवाह, सगाई इत्यादि मांगलिक कार्यों को करने के लिए समय शुभ माना जाता है.अभी तक एक लम्बे समय से शुक्र देव अस्तगत थे किंतु अब वह उदय की स्थिति में होंगे. शुक्र के उदय होने का समय मांगलिक कार्यों के आरंभ का होता है.

शुक्र उदय का क्या पड़ता है प्रभाव

शुक्र उदय का पहले भाव पर प्रभाव सुखद संबंधों को दर्शाता है. सामाजिक जीवन और प्रेम में सफलता की प्राप्ति का समय होता है. अच्छी आय, सुखद यात्राएं भी मिल सकती हैं. इस अवधि में व्यक्तिगत रुप से बहुत सी घटनाओं की उम्मीद कर सकते हैं. अपने लिए एक अच्छा मैच मिलने की संभावना होती है. परिवार में किसी नए सदस्य के आगमन की भी उम्मीद कर सकते हैं. सामाजिक रूप से, नए लोगों से मिलने और विपरीत लिंग के साथ का आनंद लेने के लिए यह एक अच्छा समय है. समाज में प्रतिष्ठा भी बढ़ सकती है. स्वयं पर धन खर्च कर सकते हैं.

शुक्र के द्वितीय भाव में उदय का प्रभाव आनंद लेने का भरपूर अवसर दिला सकता है. कुछ वस्तुओं की प्राप्ति हो सकती है. अच्छे - अच्छे व्यंजनों का आनंद भी ले सकते हैं. यह अवधि जीवन को समृद्ध बनाने के लिए मौके प्रदान करती है. कुछ महंगी चीजें अथवा उपकरण प्राप्त हो सकते हैं. कपड़े, इत्र, सौंदर्य प्रसाधन और वाहनों का भी उपयोग करने का अवसर प्राप्त होता है. आर्थिक रूप से, इस अवधि के दौरान सुचारू रूप से काम कर पाने में सक्षम होते हैं. इस विशेष समय में आर्थिक स्थिति में भी सुधार होता है. शिक्षा के क्षेत्र में सफलता प्राप्त करने के लिए बहुत अच्छा समय साबित हो सकता है.

शुक्र के तीसरे घर में उदय होने का प्रभाव, सामाजिक रुप में आपके योगदान को बढ़ा सकता है. शुभ समारोह, भाइयों और बहनों का साथ मिलता है. इस समय दोस्तों के साथ यात्राएं कर सकते हैं. सामाजिक कामों में सफलता प्राप्ति होती है. खुशी और संतोष को पाने का समय बनता है. वित्तीय सुरक्षा मिल पाती है. आगे बढ़ने की उम्मीद कर सकते हैं. यह कार्य में भी अच्छी अवधि हो सकती है और पद में वृद्धि की भी उम्मीद कर सकते हैं. आप अधिकार में लाभ की उम्मीद भी कर सकते हैं.

शुक्र के चतुर्थ भाव में उदय का प्रभाव धन एवं लाभ वृद्धि को दर्शाता है. समृद्धि में वृद्धि की उम्मीद भी कर सकते हैं. यदि कृषि से जुड़े हैं, तो यह कृषि उद्यम में आपको लाभ दिलाने वाला एक अच्छा समय हो सकता है. जीवनसाथी और बच्चों के साथ समय प्राप्त होता है. नई भौतिक सुख साधनों की प्राप्ति का समय होता है. अच्छे भोजन, भव्य वस्तुओं का भी आनंद ले सकते हैं. नए मित्र बनने की प्रबल संभावना हो सकती है. पुराने और नए दोस्तों का साथ अच्छा समय बिता पाते हैं. मौज-मस्ती करने और विपरीत लिंग के साथ का आनंद भी मिलता है.

पंचम भाव में शुक्र का उदय होना व्यक्ति को रोमांच एवं रोमांस का पल भी प्रदान करता है. मनोरंजन में समय बिताने को मिलता है. यह अवधि आर्थिक रूप से भी एक अच्छा समय दर्शाती है, धन में वृद्धि करने में सक्षम होते हैं. इस विशेष अवधि में मित्रों, बड़ों और शिक्षकों का भी व्यवहार अच्छा रहने की उम्मीद रहती है. रिश्ते सुचारू रूप से चलने की उम्मीद की जा सकती है. नए प्रेम संबंध भी विकसित हो सकते हैं. संतान का सुख मिलता है. रचनात्मक गतिविधियों से जुड़ने का अवसर होता है.

शुक्र का छठे भाव में उदय होना मिश्रित प्रभाव दे सकता है. कुछ चीजों में कठिन समय लेकर आ सकता है. यह अवधि प्रयासों में काफी परेशानियों को दिखा सकती है. शत्रुओं में वृद्धि होने की संभावना रहती है. व्यावसायिक साझेदारों से झगड़ा भी हो सकता है. शत्रुओं से भी अपनी इच्छा के विरुद्ध समझौता करना पड़ सकता है. विशेष रूप से इस चरण के दौरान अपनी जीवन साथी और बच्चों के साथ किसी भी तरह के वाद-विवाद में उलझने की संभावना भी रहती है. यात्रा इत्यादि से बचना ही उचित होता है तथा खर्चों पर नियंत्रण बनाए रखने की जरुरत होती है.

शुक्र के सातवें घर में उदय होने पर नए रिश्तों का आगमन जीवन में हो सकता है. परिवार में किसी नए सदस्य का आगमन हो सकता है. इस दौरान वाहन इत्यादि से दुर्घटना होने की संभावना रह सकती है. स्वास्थ्य पर अतिरिक्त ध्यान देने की आवश्यकता होगी, क्योंकि मानसिक अशांति, चिंता, भय और इच्छाओं में असामयिक वृद्धि से पीड़ित हो सकते हैं. समाज में अपने सम्मान और कार्यस्थल पर अपने सम्मान पर कायम रहता है. व्यर्थ के विवाद से बचना चाहिए. मुकदमेबाजी का सामना करना पड़ सकता है.व्यावसायिक रुप से समय सामान्य रहता है.

शुक्र के अष्टम भाव में उदय होने पर समय उतार-चढ़ाव लिए रह सकता है. भौतिक सुख-सुविधाओं को प्राप्त करने में अधिक समय लगा सकते हैं. कुछ विवाद इस समय शांत हो सकते हैं. संपत्ति की प्राप्ति का समय भी बनता है. प्रेम एवं रिश्तों में विस्तार का समय होता है. विपरित लिंग के प्रति आकर्षण उत्पन्न होता है. खर्चों की अधिकता बःई होती है तथा अचानक से कहीं से लाभ प्राप्ति हो सकती है.

शुक्र का नवम भाव में उदय होना नई शुरुआत का समय बनता है. इस अवधि के दौरान लाभ और कीमती चीजों में समय व्यतीत होता है. व्यापार के लिए यह अवधि संतोषजनक लाभ के साथ अनुकूल रह सकती है. इस दौरान शिक्षा में भी सफलता मिलने के संकेत अधिक रहते हैं. स्वास्थ्य सकारात्मक रहता है. भाई-बहनों के साथ प्रेम प्राप्त होता है. घर में कुछ शुभ एवं मांगलिक कार्य होने की संभावना होती है. भाग्य का सहयोग काम आता है, दोस्तों एवं नए लोगों का संपर्क बढ़ता है. धार्मिक यात्राओं एव्म आयोजनों में शामिल हो पाते हैं.

शुक्र के दशम भाव में उदय होने पर सामाजिक रूप से अनुकूल अवधि की भी उम्मीद की जा सकती है. नए दोस्त बनने की संभावना होती है. काम में कोई सलाहकार भी मिल सकता है. इस दौरान कलात्मक क्षेत्र में रुचि बढ़ती है. लोगों द्वारा कार्यों पर ध्यान दिया जाता है. समाज में प्रतिष्ठा को बनाए रखने की इच्छा शक्ति बढ़ेगी. इस समय मनोकामना पूरी हो सकती है और शत्रु पराजित हो सकते हैं. वित्त को लेकर अतिरिक्त सावधानी बरतनी पड़ सकती है और किसी भी प्रकार के ऋण से बचने की कोशिश करनी चाहिए, क्योंकि इस समय के दौरान आप पर कर्ज होने की संभावना अधिक रहती है. शत्रुओं से सावधान रहने की जरूरत होती है और अनावश्यक और व्यर्थ की चर्चाओं से बचना चाहिए.

एकादश भाव में शुक्र का उदय होन प्रेम में सफलता, घरेलू मामलों में सकारात्मकता प्रदान कर सकता है. विपरित लिंग के साथ अच्छे संबंध बनते हैं सामाजिक सफलता भी इस समय पर प्राप्त हो सकती है. ज्यादातर वित्तीय सुरक्षा और कर्ज से राहत का समय होता है.आर्थिक समस्याओं के समाधान की भी उम्मीद कर सकते हैं. यह अवधि प्रयासों में सफलता भी लाती है. लोकप्रियता में वृद्धि तथा प्रतिष्ठा प्राप्ति का समय दिखाती है. सुख-सुविधाओं, अच्छे भोजन, वस्त्रों, गहनों और अन्य विदेशी सामानों की प्राप्ति पर ध्यान अधिक केंद्रित रह सकता है.

द्वादश भाव में शुक्र का उदय होना संघर्ष को दिखाता है.समाज में अपना योगदान देने कार्य करने की रुचि अधिक होती है. प्रेम संबंधों में सफलता का समय होता है. यह सकारात्मक और नकारात्मक घटनाओं के मिश्रित समय को इंगित करता है. यह अवधि जहां एक ओर आर्थिक लाभ को दर्शाती है वहीं दूसरी ओर यह धन और वस्त्र के कुछ अप्रत्याशित नुकसान को भी दर्शाती है. विदेश यात्रा पर अनावश्यक खर्च और धन की बर्बादी का समय हो सकता है.