20 दिसम्बर 2009 को गुरू आपकी जन्म राशि से निकलकर कुम्भ राशि में प्रवेश करने जा रहा है. इस राशि में गुरू मई 2010 की पहली तारीख तक गमन करेगा. इस दौरान आपकी राशि पर गुरू की स्वर्णमू्र्ति स्थिति होगी और यह उत्तराषाढ़ा के दूसरे, तीसरे, चौथे चरण तथा श्रवण के चारों चरण एवं धनिष्ठा नक्षत्र के पहले व दूसरे चरण में गमन करेगा. जन्म राशि से दूसरी राशि में गुरू का आना आपके लिए बहुत ही शुभ फलदायी है. इन दिनों आपका आत्मविश्वास बढ़ेगा तथा व्यवहार में भी बदलाव आएगा जिससे आपके सम्मान में वृद्धि होगी. गुरू का राशि परिवर्तन आपके लिए कई मायने में शुभकारी रहेगा जैसे
आजीविका (Jupiter’s Transit and Business for Capricorn)
रोज-रोजगार के विषय में गुरू का यह गोचर सफलता की नई राहें खोलेगा. व्यवसाय में लाभ अच्छे अवसर प्राप्त होंगे तथा व्यवासाय उन्नत होगा. नौकरी करते हैं तो आपके पद एवं प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी. आपके कार्य को सराहा जाएगा. आप काफी समय से अच्छी नौकरी की तलाश में हैं तो इस अवधि में आपकी तलाश पूरी हो सकती है यानी अच्छी नौकरी मिल सकती है. कारोबार के सिलसिले में विदेश यात्राओं के भी अवसर प्राप्त होंगे.
आर्थिक विषय (Jupiter’s Transit and Finance for Capricorn)
धन सम्बन्धी विषय में भी आपके लिए यह समय शुभ रहेगा. इन दिनों आय में बढ़ोतरी होगी तथा लाभ के सुनहले अवसर प्राप्त होंगे. जीवनसाथी के माध्यम से भी लाभ के योग बनेंगे. इस अवधि में आपके लिए अच्छी बात यह है कि जितनी मेहनत करेंगे तथा अपनी योग्यता का इस्तेमाल करेंगे आर्थिक स्थिति उतनी ही मजबूत होगी. पिछले कुछ समय से जिन क्षेत्रों से लाभ नहीं मिल रहा था उनसे भी लाभ मिलेगा. कोशिश करेंगे तो भूमि अथवा घर भी खरीद सकते हैं.
पारिवारिक (Jupiter’s Transit and Family for Capricorn)
आपकी गृहस्थी में गुरू का यह गोचर खुशियों की बरसात कर रहा है. यही कारण है कि जीवनसाथी और आपके बीच सम्बन्धों में मधुरता आएगी तथा पारिवारिक मुद्दों को बातों से सुलझा पाएंगे. घर में विवाह जैसे मांगलिक कार्य सम्पन्न हो सकते हैं. घर में संतान का जन्म हो सकता है इससे भी आपको आनन्द और हर्ष की अनुभूति होगी.
अन्य विषयों में गुरू के घर परिवर्तन का प्रभाव
इस समय स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्याओं में कमी आएगी और आमतौर पर आपकी सेहत अच्छी रहेगी. आदलती मामलों में भी फैसला आपके पक्ष में हो सकता है. विरोधियों को हार का मुंह देखना पड़ सकता है.
उपाय (Remedies)
गुरू के इस राशि में गोचर का पूर्ण लाभ पाने के लिए आपको नक्षत्रों की पूजा उपासना करनी चाहिए. इनके अलावा आप चाहें तो भगवान विष्णु की आराधाना एवं गुरूवार के दिन व्रत व पूजा भी कर सकते हैं यह भी आपके लिए लाभप्रद रहेगा.